किराए पर मकान देने से पहले जुटा लें किराएदार की सारी जानकारीः- एसपी सिद्धान्त जैन
किराए पर मकान देने वाले मकान मालिक हो जाएं सावधान, कहीं आपके नाम भी ना आ जाए करोड़ों का GST नोटिस ।
किराए पर मकान देने से पहले जुटा लें किराएदार की सारी जानकारीः- एसपी सिद्धान्त जैन
डबवाली 10 अप्रैल । अगर आप किसी को मकान किराए पर देते हैं या देने की योजना बना रहे हैं तो सतर्कता बरतने की जरूरत है। इन दिनों एक नया ‘रेंट स्कैम’ सामने आया है। इसमें ठग आपके एड्रेस का इस्तेमाल करके GST फ्रॉड कर सकते हैं।
पुलिस अधीक्षक सिद्धान्त जैन ने रैंट स्कैम के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी देते हुए बताया कि इस स्कैम में ठग पहले ईमानदार किराएदार बनकर कानूनी तरीके से रेंट एग्रीमेंट कराते हैं और सिक्योरिटी डिपॉजिट करते हैं । कुछ दिनों बाद वह बिना किसी विवाद के मकान खाली कर देते हैं, जिससे मकान मालिक को कोई शक नहीं होता ।
मकान मालिक को लगता है कि उन्हें कोई नुकसान नहीं हुआ, लेकिन असली परेशानी तब शुरू होती है, जब उसके पते पर GST का नोटिस आता है। दरअसल वह किराएदार वहां अपना फर्जी GST अकाउंट रजिस्टर करवा लेता है और भारी टैक्स लायबिलिटी छोड़कर फरार हो जाता है । पहले किराएदारों से जुड़े ज्यादातर फ्रॉड किराया न चुकाने, सिक्योरिटी डिपॉजिट न करने या मकान खाली न करने तक सीमित थे।
लेकिन यह स्कैम सीधे सरकारी टैक्स और कानूनी दांव-पेंच से जुड़ा है, जिससे निकलना मकान मालिकों के लिए मुश्किल हो सकता है । इस स्कैम में किराएदार के बारे में पता लगाना भी मुश्किल हो सकता है क्योंकि वह फर्जी डॉक्यूमेंट्स देकर मकान किराए पर लेता है और बाद में फरार हो जाता है।
उन्होने बताया कि रेंट स्कैम से बचने के लिए सतर्कता ही सबसे बड़ा बचाव है । मकान मालिकों को सही डॉक्यूमेंट्स की जांच, पुलिस वेरिफिकेशन और रेंट एग्रीमेंट पर खास ध्यान देना चाहिए । किसी भी किराएदार को बिना पूरी जांच-पड़ताल के घर देना जोखिम भरा हो सकता है । थोड़ी सी सतर्कता आपको बड़े कानूनी और फाइनेंशियल झंझट से बचा सकती है । मकान किराए पर देने से पहले नीचे ग्राफिक में दी गई इन बातों का ध्यान जरूर रखें । किराएदार का पुलिस वेरीफिकेशन जरूर कराएं । उसके आधार कार्ड, पैन कार्ड व पिछले एड्रेस की जानकारी लें । किराएदार की नौकरी या बिजनेस की पूरी जानकारी वेरीफाई करें । रैंट एग्रीमेंट में स्पष्ट रूप से किराएदार के अधिकार व जिम्मेदारियां लिखें । रेंट एग्रीमेंट में ये लिखें कि इस पते का इस्तेमाल बिजनेस या GST रजिस्ट्रेशन के लिए नहीं किया जा सकता ।
घर के एड्रेस पर कोई फर्जी GST रजिस्ट्रेशन मिलने पर क्या करें?
ऐसी स्थिति में GST पोर्टल पर जाकर शिकायत दर्ज कर सकते हैं। साथ ही आप संबंधित राज्य के GST विभाग की ईमेल आईडी पर शिकायत कर सकते हैं । GST कस्टमर केयर नंबर 1800-103-4786 पर कॉल करके भी अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं । यहां ओनरशिप सर्टिफिकेट जैसे रेंट एग्रीमेंट, बिजली बिल, आधार डिटेल दिखाकर फर्जी रजिस्ट्रेशन को रद्द करा सकते हैं ।
रेंट स्कैम का शिकार होने पर मकान मालिक को क्या करना चाहिए?
अगर आप रेंट स्कैम का शिकार हो गए हैं घबराने की जरूरत नहीं है, बल्कि तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए । सबसे पहले नजदीकी पुलिस स्टेशन या साइबर क्राइम सेल में इसकी शिकायत दर्ज करें । इसके बाद GST विभाग को सूचित करें और अगर कोई नोटिस आया है तो उसका सही तरीके से जवाब दें। इसके अलावा कानूनी सलाह लेना भी जरूरी है, जिससे आप समझ सकें कि आगे क्या कदम उठाने चाहिए ।
रेंट एग्रीमेंट बनवाते समय मकान मालिक को किन अहम बातों का ध्यान रखना चाहिए?
भविष्य में किसी भी तरह के विवाद से बचने के लिए एग्रीमेंट की अवधि स्पष्ट रूप से तय होनी चाहिए। इसके बाद किराए की रकम और भुगतान की शर्तों का जिक्र होना जरूरी है, जिसमें भुगतान की तारीख और तरीका (कैश, बैंक ट्रांसफर या चेक) शामिल हो। इसमें यह भी तय होना चाहिए कि डिपॉजिट की वापसी कैसे होगी और किन परिस्थितियों में कटौती की जा सकती है। इसके अलावा, पानी, बिजली, मेंटेनेंस और अन्य बिलों का भुगतान कौन करेगा, यह भी साफ-साफ लिखा जाना चाहिए। इससे भविष्य में किसी तरह की गलतफहमी न हो। इसके अलावा कुछ बातों का ध्यान रखें ।
जैसे कि रेंट एग्रीमेंट को स्टांप पेपर पर तैयार करें और नोटरी रजिस्ट्रेशन कराएं। जरूरी स्टांप ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन चार्ज का भुगतान करें । मकान खाली करने से पहले किरायेदार को कितने दिनों का नोटिस देना होगा, यह तय करें । यह साफ करें कि मकान में किसी तरह की मरम्मत या मेंटेनेंस का खर्च कौन उठाएगा। पानी, बिजली और सोसाइटी मेंटेनेंस चार्ज का भुगतान कौन करेगा, यह भी जरूर लिखें । मकान मालिक कब और कितनी बार निरीक्षण के लिए आ सकता है, यह स्पष्ट करें । कोई अवैध गतिविधि होने पर किराएदारी तुरंत समाप्त करने का अधिकार रखें।